आप सोच रहे होंगे की यह कैसा शीर्षक है...... बताती हूँ पहले इसकी भूमिका बना लूँ। पिछले कुछ दिनों से मेरे छह वर्षीय जुड़वाँ सुपुत्रों को वायरल बुखार है। अब बुखार है तो स्कूल की छुट्टी पर आदत से मजबूर कि पल भर भी टिक के नहीं बैठते। जितनी देर बुखार ज्यादा रहता है चुपचाप कुछ करते रहते हैं पर जहाँ थोड़ा कम हुआ नहीं कि उधम शुरू। मुहँ का स्वाद खराब है तो खाना खाया नहीं जाता, अब शरीर कमजोर हो गया है इसलिए हर बात पर रोना आजाता है। उनके पीछे भागते भागते मेरी ख़ुद की हालत बीमारों जैसी हो गयी। पर क्या करें काम तो छोड़े नहीं जा सकते यही सोच कर उठी और जैसे तैसे घर को थोड़ा सुधारा। अभी काम ख़त्म भी नहीं हुआ था कि कुछ आराम कर सकूं और कमरे में हंगामा होने लगा तकिये जमीन पर, चादर मुड़ी तुड़ी ........देख कर बड़ा गुस्सा आया। बच्चे बीमार हैं यह सोच कर ख़ुद को शांत करना चाहा उनको तो कुछ नहीं कहा पर ख़ुद रोना आगया। मुझे रोता देख दोनों शांत हो गए, बड़े बेटे ने आकर धीरे से मेरे आंसू पोछे और बोला मत रो सुपर मॉम नेवर क्राइस। मैंने चकित हो कर पूछा कि सुपर मॉम क्या होता है तो बोला कि जब हमको चोट लगती है और हम रोते हैं तो तुम कहती हो कि सुपर मैन नेवर क्राइस। तो सुपर मैन की मम्मी सुपर मॉम ही होगी न। बच्चों के इस भोलेपन पर मैं मुस्करा के रह गयी। सारी थकान पल भर में गायब हो गयी........ और मुझे मुस्कराते देख दोनों ने फ़िर से तकिये फेंकने शुरू कर दिए इस बार तो उनके गिलाफ भी दूर जा गिरे। मेरे नन्हें शैतान
22 comments:
शैतान मगर होशियार हैं आपके सुपुत्र।
यादगार क्षणों की रोचक दास्ताँ
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चाँद, बादल और शाम
गुलाबी कोंपलें
शक्ल से ही शैतान दिख रहे हैं .....बच्चो का भोलापन ही तो उनकी सबसे निराली चीज़ होती है
सही कहा बच्चों ने:
सुपर मॉम नेवर क्राइस!!
bahut bhavpurn lamha,bachhe sahi bole,supermom never cries,bahut pyare hai:)
सही कह रहा है आपका बेटा। सुपर मॉम क्या मॉम भी नहीं रोती। वैसे बच्चे बड़े हो जाएँगे घर वहीं का वहीं रहेगा। अभी उनके साथ का आनन्द उठाइए, घर को बिखरा रहने दीजिए।
घुघूती बासूती
salute!! to super mom
every mom is super mom
बच्चों के तर्क के आगे तो, सुपरमॉम भी ...
पास हैं बच्चे हैं तो घर बिखरा बिखरा रहता है अच्छा लगता है :) सही कहा माँ कहाँ रो सकती है ..वो भी सुपर मॉम ..नेवर ...
बच्चों की भोली बातें रुला जाती है यह सच है। पर इसे भी ध्यान से सुनना चाहिए। कि सुपर मॉम नेवर क्राइस।
Nahi likhane par bhi jindgee bhar nahi bhoolne wale pal hain.
khali panne
सही कहा, जब बच्चे चुप हो तो हमी बार बार पुछते है बेटा तबीयत तो ठीक है आज चुप क्यो हो,ओर जब बच्चे शोर करते है तो हमीं उन्हे गुस्सा करते है, लेकिन बच्चे शरारत तो करेगे ही ना, ओर इन की शरारते अच्छी भी लगती है.
बहुत प्यारे प्यारे बच्चे लगे , ओर सच ही कहा, सुपर मॉम नेवर क्राइस!!
बच्चो को बहुत प्यार
आप का धन्यवाद इस सुंदर लेख के लिये
सुन्दर! बच्चे आपके जल्दी ठीक हों!
बच्चों के लिए तो हर मां सुपर ही होती है। कामना है कि दोनों नटखट स्वस्थ रहें।
सुपर मैन की मम्मी सुपर मॉम ही होगी...बड़े होशियार है आपके बेटे और बहुत प्यारे भी.
क्या खूब कहा.
शरारते तो करनी ही चाहिए ! ....फिर जो शरारते याद न रह जाय वो शरारते ही क्या !
बच्चों का यही भोलापन तो उन्हें औरों से अलहदा बनाता है. भगवान का रूप भी शायद उन्हें इसी वजह से कहते हैं. काश, ईश्वर इस दुनिया को इन बच्चों जैसा ही निष्पाप बना दे.....
मेरे ब्लॉग पर पधारने के लिए शुक्रिया..... प्रोत्साहन देतीं रहें.
http://deveshvyas.blogspot.com
बहुत बढ़िया...बच्चे होशियार भी हैं और संवेदनशील भी। यही है सच्ची ब्लागिंग...
बधाई...पहली बार आना हुआ ...पर अच्छा लगा...
शिखाजी,
वन्य प्राणियों में रूची लेने का आभर!
http://vanprani.blogspot.com पर दी आपकी टिप्प्णी सही है। हाथी की देखने की शक्ति कमजोर होती है, इसे वे सूँघने एवं सुनने की अद्धभूत क्षमता से दूर करते हैं। ये समूह में रहने वाले प्राणी है, तो इनका लिडर कोई तो होगा हीं। मादा नवजात के साथ आक्रामक रहते हैं तो टस्कर शक्ति बल पर प्रबल रहते हैं।
बढ़िया।
अच्छा लगा।
they r veru cute...
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